Major dhyan chand biography : मेजर ध्यानचंद एक महान भारतीय हॉकी खिलाड़ी थे जिन्होंने अपने करियर में कई रिकॉर्ड तोड़े और अपनी टीम के लिए कई महत्वपूर्ण योगदान दिए। उनका जन्म 29 अगस्त 1905 को इलाहाबाद में हुआ था। उनके पिता का नाम शरदा सिंह था, जो एक राजपूत परिवार से ताल्लुक रखते थे।
ध्यानचंद ने अपने हॉकी करियर की शुरुआत 1922 में की थी, जब उन्होंने ब्रिटिश इंडियन आर्मी में शामिल होकर हॉकी टूर्नामेंट में भाग लिया था। उन्होंने अपने करियर में 185 मैच खेले और 570 गोल किए। वह अपने समय के सबसे महान हॉकी खिलाड़ियों में से एक माने जाते हैं।
ध्यानचंद ने अपने करियर में तीन ओलंपिक स्वर्ण पदक जीते, 1928 में एम्सटर्डम, 1932 में लॉस एंजिल्स और 1936 में बर्लिन में। उन्होंने अपने करियर में कई रिकॉर्ड तोड़े और अपनी टीम के लिए कई महत्वपूर्ण योगदान दिए।
ध्यानचंद को उनके खेल में महारत हासिल थी और वह गेंद को अपने नियंत्रण में रखने में इतने निपुण थे कि उन्हें “हॉकी जादूगर” और “द मैजिशियन” जैसे नामों से प्रसिद्ध हो गए। उन्हें 1956 में पद्म भूषण से सम्मानित किया गया था।
ध्यानचंद की मृत्यु 3 दिसंबर 1979 को नई दिल्ली में हुई थी। उनकी मृत्यु के बाद, भारत सरकार ने उनके सम्मान में मेजर ध्यानचंद खेल रत्न पुरस्कार की स्थापना की। यह पुरस्कार भारत में खेल के क्षेत्र में उत्कृष्ट योगदान के लिए दिया जाता है।
ध्यानचंद की जीवनी इस प्रकार है:
– *प्रारंभिक जीवन*: ध्यानचंद का जन्म 29 अगस्त 1905 को इलाहाबाद में हुआ था।
– *हॉकी करियर*: ध्यानचंद ने अपने हॉकी करियर की शुरुआत 1922 में की थी।
– *ओलंपिक स्वर्ण पदक*: ध्यानचंद ने अपने करियर में तीन ओलंपिक स्वर्ण पदक जीते।
– *पुरस्कार और सम्मान*: ध्यानचंद को 1956 में पद्म भूषण से सम्मानित किया गया था।
– *मृत्यु*: ध्यानचंद की मृत्यु 3 दिसंबर 1979 को नई दिल्ली में हुई थी।