सरोजिनी नायडू एक महान कवयित्री, राजनीतिक कार्यकर्ता, और भारतीय स्वतंत्रता संग्राम की प्रमुख महिलाओं में से एक थीं। उनका जन्म 13 फरवरी, 1879 को हैदराबाद में एक बंगाली परिवार में हुआ था । उन्हें “नाइटिंगेल ऑफ इंडिया” या “भारत की कोकिला” के नाम से जाना जाता है, जो उनकी कविताओं और स्वतंत्रता संग्राम में उनके योगदान के कारण है ।
*प्रारंभिक जीवन और शिक्षा*
सरोजिनी नायडू के पिता अघोरनाथ चट्टोपाध्याय एक विद्वान और दार्शनिक थे, जबकि उनकी माता वरदा सुंदरी एक कवयित्री थीं । उन्होंने अपनी शिक्षा हैदराबाद और लंदन में प्राप्त की, जहां उन्होंने कविता और साहित्य में अपनी रुचि विकसित की ।
*कविता और साहित्य*
सरोजिनी नायडू की कविताएं भारतीय संस्कृति और स्वतंत्रता संग्राम की भावना को दर्शाती हैं । उनकी कविता संग्रह, “द गोल्डन थ्रेशन” और “द फ़ीडम सॉन्ग्स”, भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के दौरान बहुत लोकप्रिय हुए थे ।
*राजनीतिक कार्य*
सरोजिनी नायडू ने भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस में शामिल होकर स्वतंत्रता संग्राम में सक्रिय रूप से भाग लिया । उन्होंने महात्मा गांधी के नेतृत्व में कई आंदोलनों में भाग लिया और भारतीय महिलाओं के अधिकारों के लिए लड़ाई लड़ी ।
*विरासत*
सरोजिनी नायडू की विरासत आज भी भारतीय संस्कृति और स्वतंत्रता संग्राम में उनके योगदान के रूप में जारी है । उनकी कविताएं और साहित्य अभी भी पढ़े और सराहे जाते हैं, और उनकी राजनीतिक गतिविधियों ने भारतीय महिलाओं के लिए एक मिसाल कायम की है ।